देहरादून-प्रदेश कांग्रेस उपाध्यक्ष धीरेंद्र प्रताप ने नए मुख्यमंत्री से मांग की है कि विधानसभा का तत्काल एकदिवसीय आपातकालीन सत्र बुलाया जाए।राज्य आंदोलनकारियों की गई नौकरियों से नाराज उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्ष ने सोमवार को कांग्रेस भवन में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए नए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मांग की है कि वह हाई कोर्ट के फैसले के विरुद्ध जानकारी की नौकरियों को वैधानिक स्वीकृति दिलाई जाने हेतु तत्काल विधानसभा का एक दिवसीय आपातकालीन सत्र बुलाए।कांग्रेस प्रवक्ता गरिमा दसोनी,कांग्रेस देहरादून अध्यक्ष लालचंद शर्मा और पूर्व राज्य मंत्री मनीष कुमार की उपस्थिति में पत्रकारों से बातचीत करते हुए धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि राज्य आंदोलनकारियों की बदौलत राज्य बना है।लेकिन साड़े चार साल तक सरकार पर राज करने वाले भाजपा के दोनों मुख्यमंत्रियों ने आंदोलनकारियों के हित में कदम उठाना वाजिब नहीं समझा।धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि राज्य आंदोलनकारियों ने कल देहरादून में शहीद स्मारक पर एक दिवसीय आपातकालीन सम्मेलन बुलाकर फैसला किया है कि सरकार के जन विरोधी रवैया के विरुद्ध 14 जुलाई को राज्यपाल के आवास का घेराव किया जाएगा।धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि राज भवन,आंदोलनकारियों के आरक्षण को लेकर पिछले पांच सालों से कांग्रेस सरकार के 10% आंदोलनकारी आरक्षण के फैसले पर कुंडली जमाए बैठा है।उन्होंने कहा कि इसी के विरुद्ध राज्य आंदोलनकारियों ने 14 जुलाई को राज भवन पर हल्ला बोल का फैसला किया है,उन्होंने कहा कि यही नहीं उसके विरुद्ध यदि फिर भी फैसला ना हुआ तो राज्य आंदोलनकारी आगामी 8 अगस्त को क्रांति दिवस की पूर्व संध्या पर मुख्यमंत्री आवास का घेराव करेंगे ।धीरेन्द्र प्रताप ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने भी राज्य में हो कार्यों के साथ राज्य में भाजपा सरकार के चलते हो रहे दुर्व्यवहार पर चिंता की व्यक्त की है और कहा है कि राज्य आंदोलनकारियों के फरमान का कांग्रेस समर्थन करेगी।धीरेंद्र प्रताप ने भाजपा के एक विधायक पर एक महिला के साथ दुष्कर्म के आरोप पर कहा कि मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि वह पहले दिन से ही अच्छे काम करने की शुरुआत का दावा कर रहे हैं तो वह क्यों नहीं सबसे पहले भाजपा के विधायक के विरुद्ध एफ आई आर दर्ज करते हैं।धीरेन्द्र प्रताप जो पिछले दस दिनों से दिल्ली में थे ने कहा कि कांग्रेस मसले में भी जल्द फैसला होने वाला है और उम्मीद है कि इस सप्ताह के अंत में शनिवार से पहले नेता प्रतिपक्ष के मामले पर कांग्रेस अपना निर्णय घोषित कर देगी।उन्होंने कहा कि पंजाब और छत्तीसगढ़ में भाजपा नेतृत्व कांग्रेस सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रहा है इसीलिए कांग्रेस शासित सरकारों को बचाने के लिए रणनीति बनाने में काग्रेस नेतृत्व जुटा है और जल्द ही उत्तराखंड का फैसला भी सबके सामने आ जाएग ।